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Best लगीं Shayari, Status, Quotes, Stories

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sanwali_ladki

अब भागना छोड़ दिया है..
 नाता सबसे तोड़ लिया है..
 सबको दिख रही है मेरी खामियां.. 
 पर क्या सुनाई नहीं दे रही मेरी खामोशियां?
 अब डर नहीं अकेले रहने से..
उम्मीद अब हमें नहीं किसी से.. 
ज़िन्दगी मेरी दफ़न होने लगी हैं,
सिसकियां भी अब ये खोने लगीं हैं। #भागना #छोड़ #नाता #तोड़ #मेरी #खामियां #सुनाईनहीं #खामोशियां #डर #अकेले #रहने #उम्मीद #ज़िन्दगी  #दफ़न #सिसकियां #खोने #लगीं

Deep shayari with Navdeep

#तारीफ़ें होने लगीं

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मेरे लिखते ही लोगों को तकलीफें होने लगीं।
वो कहने लगे क्यों इसकी तारीफें होने लगीं?

@Navdeep sir #तारीफ़ें होने लगीं

Sabreen Nizam😊

❤️💐nojotolovesayarituimagination#❤️

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ख्यालों में इक तस्विर बनने लगीं,
हवा छू के मुझे अब गुजरने लगीं।..

भवरों की तरह ऐसे छू कर गया,
कि कली से मैं फूल बनने लगीं।..

तुफानों से लड़ी और टूटी नहीं पर,
तेरी इक छुअन से बिखरनें लगीं। ..

{Sabreen Nizam} ❤️💐#nojoto#love#sayari#tu#imagination#❤️

DEVANSH RAJPOOT

इश्क़ सर चढ़ा और तमन्ना बिखर गयी 
यूं तेरे होंठों को छू के हमारी रूह पिघल गयी 

यूं थोड़ी साँसे भी ठहरीं और पलकें भी झपकने लगीं 
फिर तेरे गालो को छू के तेरी बालियां भी चमकने लगीं 

सुरूर उन आँखों का भी था जिन पे काजल लगा था 
यूं तेरे मांथे की बिंदिया देख हमारी जान निकलने लगी 

वो मासूमियत तेरी चमकते चाँद सी लगी 
तेरे हर्फ़ को सुनकर हमारी ग़ज़ल भी सवरने लगी 

- DEVANSH RAJPOOT #follow #ghazal #hindiday #hindi #poet #khubsuratalfaz

डॉ राखी अग्रवाल

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महफिलों का लुत्फ जब देने लगीं तनहाईय़ाँ 
मेरी आँखों से तभी बहने लगीं तनहाईय़ाँ
Dr.Rakhi Aggarwal

Sonuswrites

#ऐसी लागि लगन

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ऐसी लागि लगन  प्रेमधुन में थी वो मगन,
लागी ऐसी अगन ,मन में छाई थीं कैसी मिलन की पवन
ऐसी लागि लगन, लागी लागी रे लगन
सब तो छोड़ चली ,मैं कहा थी पलि सुद बुद खो के रहीं ।
थी ये कैसी  लगन वो तो प्रेम गीत धुन कोई बजाने लगीं 
ऐसी लागि लगन बावरी मैं मगन 
लागी लागी रे लगन , लागी लागी रे लगन
जग से नाता न कोई, आस तुमसे थी जुड़ी 
फिर भी जोड़ चली,वो तो प्रेम पाठ सबको पढ़ाए पड़ी
ऐसी लागी लगन, लागी लागी रेे लगन लागी लागी र लगन
बीते दिन ना कोई, जिनमे तुम न हुए, 
थी दीवानी भई, ख़ुद को खोती रहीं 
वो प्रेम धुन मधुर कोई बजाने लगीं 
ऐसी लागी लगन प्रेम धुन में मगन,
 वो तो प्रेम धुन म सुदबुद गवाने लगीं
ऐसी लागी लगन प्रेम धुन में थी वो मगन
वो तो गली गली प्रेम गीत गाने लगी
 ऐसी लागी रे लगन लागी लागी रे लगन ।।2।। #ऐसी लागि लगन

ashish shukla

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जय श्री कृष्ण 

वृंदावन में कलियां महकने लगीं,
फिर से गोकुल की गलियां चहकनें लगीं।

तान मुरली की फिर से मधुर हो गयीं ,
फिर घटायें भी गहरी विपुल हो गयीं।

बंदीगृह  के सभी द्वार खुलने लगे,
द्वारपाल गहरी निद्रा में मिलने लगे।

टूट कर गिर गयी बेड़ियाँ जो पड़ी,
अष्टमी तिथि वो रोहणीं नखत की घड़ी।

पाँव धोनें को यमुना भी  बढ़ने लगीं,
नंद के घर भी खुशियां उमड़ने लगीं ।


तीनों लोकों में अद्भुत छटा छा गयी,
कृष्ण के जन्म की शुभ घड़ी आ गयी।

आशीष शुक्ला

Moh Ashraf Khan

ऐसा नहीं है कि माँ को बना के खुदा ने कोई सजन मनाया होगा बल्कि सच तो ये है बहोत पछता या कब उसका एक-एक जुदा किसी ओर ने चूरा लिया वो जान भी नहीं पाया खुदा का काम था मोहब्बत वो माँ करने लगीं खुदा का काम था हिफाज़त

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 ऐसा नहीं है कि माँ को बना के 
खुदा ने कोई सजन मनाया होगा 
बल्कि सच तो ये है बहोत पछता या
कब उसका एक-एक जुदा किसी ओर ने 
चूरा लिया वो जान भी नहीं पाया 
खुदा का काम था मोहब्बत 
वो माँ करने लगीं 
खुदा का काम था हिफाज़त

Moh Ashraf Khan

ऐसा नहीं है कि माँ को बना के खुदा ने कोई सजन मनाया होगा बल्कि सच तो ये है बहोत पछता या कब उसका एक-एक जुदा किसी ओर ने चूरा लिया वो जान भी नहीं पाया खुदा का काम था मोहब्बत वो माँ करने लगीं खुदा का काम था हिफाज़त

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ऐसा नहीं है कि माँ को बना के 
खुदा ने कोई जसन मनाया होगा 
बल्कि सच तो ये है बहोत पछता या
कब उसका एक-एक जुदा किसी ओर ने 
चूरा लिया वो जान भी नहीं पाया 
खुदा का काम था मोहब्बत 
वो माँ करने लगीं 
खुदा का काम था हिफाज़त 
वो माँ करने लगीं
खुदा का काम था बरकत 
वो भी माँ करने लगीं
देखते ही देखते उसके आँखों 
के सामने कोई परवर दिगार हो गया 
वो बहोत मयूस हूआ बहोत पछताया 
क्यो कि माँ को बना के खुदा 
बे रोज गार हो गया ऐसा नहीं है कि माँ को बना के 
खुदा ने कोई सजन मनाया होगा 
बल्कि सच तो ये है बहोत पछता या
कब उसका एक-एक जुदा किसी ओर ने 
चूरा लिया वो जान भी नहीं पाया 
खुदा का काम था मोहब्बत 
वो माँ करने लगीं 
खुदा का काम था हिफाज़त

KULDEEP CHOUHAN

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नज़रों से नज़ाकत अब कम होने लगीं ।।
वो हमसे दूर बेहद दूर होने लगीं ।।
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