Find the Best भ्राता Shayari, Status, Quotes from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos aboutभ्राता का शब्द रूप, भ्राता का विलोम शब्द, भ्राता का भाववाचक संज्ञा, भ्राता का पर्यायवाची, भ्राता श्री कृष्णा,
शिवानन्द
#राम का नाम पर #राजनीति करने का, तुम काम न करों, अगर बनना है तो शिया के राम जैसा बनो। लखन के #भ्राता जैसा धाम बनो, शबरी के #जुठे बैर खाने वाले #मर्यादा पुरुषोत्तम #श्रीराम बनो।🙏🏻🙏🏻🙏🏻 🕊️🕊️ #नदान_परींदा 🕊️🕊️ #thirdquotebyme #political #yqbaba 🕊️🕊️ #नदान_परींदा 🕊️🕊️ #yqdidi #yqbaba #yqquotes
#thirdquotebyme #political #yqbaba 🕊️🕊️ #नदान_परींदा 🕊️🕊️ #yqdidi #yqbaba #yqquotes
read moreShiwalika_SSS
#OpenPoetry “ रक्षाबंधन” स्नेह ,प्रेम,सौहार्द का तर्पण,अखंडित विश्वास का दर्पण, कच्चे धागों का पक्का संगम,ऐसा मनभावन ये रक्षाबंधन।। कृष्ण- द्रौपदी के पवित्र बंधन के किस्से अपार सुने हैं, नारायण और गिरिजा भी तो इसी बंधन में बंधे हैं, जब संकट पड़ा द्रौपदी पर और कोई न रक्षा को आया, तब मीलों दूर से केशव ने ही भ्राता का फर्ज निभाया। नहीं कोई पराकाष्ठा जिसकी,जीवन भर का ऐसा है वचन, ऐसा मनभावन ये रक्षाबंधन..।। ये बंधन ही है जिसने इतिहास में दो धर्मों को जोड़ा था, बुलावे पर कर्णावती के, हुमायूँ रण से दौड़ा था, जब पोरस को रोक्साना ने,भ्राता कह धागा बाँध दिया, तब सिकंदर को परास्त कर भी,पुरुश्रेष्ठ ने जीवनदान दिया। भीषण शत्रुता के मध्य भी जो, प्रेम जगा दे अनुपम, ऐसा मनभावन ये रक्षाबन्धन..।। read full in the caption.... है कथा अनोखी करुणामयी माँ संतोषी के प्रकटोत्सव की, ये बात है श्री गणेश और माँ मनसा के राखी उत्सव की, देख भाई-बहन का प्रेम ,शुभ-लाभ का मन भी ललचाया, तब कृपा हुई श्री गणेश की और संतोषी को भगिनी पाया। खिला जगत संसार मे तब, संतोष क्षमा का उपवन, ऐसा मनभावन ये रक्षाबंधन..।।
है कथा अनोखी करुणामयी माँ संतोषी के प्रकटोत्सव की, ये बात है श्री गणेश और माँ मनसा के राखी उत्सव की, देख भाई-बहन का प्रेम ,शुभ-लाभ का मन भी ललचाया, तब कृपा हुई श्री गणेश की और संतोषी को भगिनी पाया। खिला जगत संसार मे तब, संतोष क्षमा का उपवन, ऐसा मनभावन ये रक्षाबंधन..।।
read moreVats Akshay
अगर मैं अतीत में जा पाता प्यार की चिड़िया को छोड़ कर आता हँसता गाता खिलखिलाता आकर सबको यही बताता की सब कुछ कर लें कुछ नहीं जाता पर प्यार ना करियो ओ मेरे भ्राता क्योंकि जो इसके चंगुल में जाता वापस कभी न लौट के आता मोह माया से है घिर जाता सुख ,शांति निकट नहीं आता अपनों से ये बैर करता दोस्ती में यह फूट दिलाता फिर भी कुछ न समझ में आता दलदल में ही फँसता जाता अंत में फिर वह कुछ नहीं पाता रोता गाता और चिल्लाता आकर सबको यही बताता कि सब कुछ कर ले कुछ नहीं जाता पर प्यार ना करियो ओ मेरे भ्राता 🙏 अगर अच्छा लगे तो लाइक और कॉमेंट जरूर करें 🙏 #brokenheart
अगर अच्छा लगे तो लाइक और कॉमेंट जरूर करें 🙏 #brokenheart
read moreअभिसार शुक्ल
"अर्जुन की युद्ध चिंता" अभय हृदय अशांत है, क्यों रक्त ये अधीर है । (पूरी कविता कैप्शन देखे) #NojotoQuote for #astitva "अर्जुन की युद्ध चिंता" अभय ह्रदय अशांत है, क्यों ये रक्त अधीर है, क्यों ये विरक्ति तेज़ है , क्यों मृत्यु का अभिषेक है , क्यूँ समय का अभाव है ,
for #Astitva "अर्जुन की युद्ध चिंता" अभय ह्रदय अशांत है, क्यों ये रक्त अधीर है, क्यों ये विरक्ति तेज़ है , क्यों मृत्यु का अभिषेक है , क्यूँ समय का अभाव है ,
read moreSHAYARI BOOKS
यह दशहरा है साहब... राजा राम थे तो, रावण भी राजा था। परमवीर राम थे तो, रावण भी महाबली था। ज्ञानी राम थे तो, महाज्ञानी रावण भी था। सन्यासी राम बने तो, संयमी रावण भी रहा। पति धर्म राम ने पूरा किया तो, भ्राता धर्म रावण ने पूर्ण किया। पिता को दिया वचन राम ने निभाया तो, बहन को दिया वचन रावण ने भी निभाया। सत्य राम थे तो झूठा रावण भी नहीं था। 🏹 फिर युद्ध क्यों?🏹 राम की जीत और रावण की हार क्यों? 🚩 यह युद्ध था... ज्ञान और महाज्ञान के सही-गलत उपयोग का। सत्य से ऊपर अति आत्मविश्वास का। परिजन की सलाह नकारने का। मर्यादा पुरुषोत्तम राम और मतिभ्रम दशानन रावण का। राम नीति और रावण प्रवृत्ति का। त्यागी राम और अहंकारी रावण का। आइये इस दशहरे पर देश, समाज और अपने अंदर के राम-रावण को पहचाने। ज्ञान और बल के सही-गलत उपयोग को जाने। सत्य और अहंकार के भेद को पहचाने। विजयदशमी की शुभकामनाएं यह दशहरा है साहब... राजा राम थे तो, रावण भी राजा था। परमवीर राम थे तो, रावण भी महाबली था। ज्ञानी राम थे तो, महाज्ञानी रावण भी था। सन्यासी राम बने तो, संयमी रावण भी रहा। पति धर्म राम ने पूरा किया तो, भ्राता धर्म रावण ने पूर्ण किया। पिता को दिया वचन राम ने निभाया तो, बहन को दिया वचन रावण ने भी निभाया।
यह दशहरा है साहब... राजा राम थे तो, रावण भी राजा था। परमवीर राम थे तो, रावण भी महाबली था। ज्ञानी राम थे तो, महाज्ञानी रावण भी था। सन्यासी राम बने तो, संयमी रावण भी रहा। पति धर्म राम ने पूरा किया तो, भ्राता धर्म रावण ने पूर्ण किया। पिता को दिया वचन राम ने निभाया तो, बहन को दिया वचन रावण ने भी निभाया।
read moreSunita Bishnolia
#रेशम की डोर सोने के संसार में ,क्यों डूबा इंसान। कच्ची रेशम डोर से,रिश्तों का अभिमान। बहना के अनुराग का, नहीं मोल है कोय, धागा सच्चे प्रेम का,हाथ सुशोभित होय। धागा पहना रेशमी,भ्राता मन मुसकाय। प्रेम-बूंद भाई रहा,दोनों हाथ लुटाय।। रेशम के दो तार का,अद्भुत है संसार। प्रेम गाँठ के बीच में,छल और न व्यापार।। रंग-बिरंगा सज रहा,मोती वाला थाल चन्दन का टीका करे,बहना भ्राता भाल।।
About Nojoto | Team Nojoto | Contact Us
Creator Monetization | Creator Academy | Get Famous & Awards | Leaderboard
Terms & Conditions | Privacy Policy | Purchase & Payment Policy Guidelines | DMCA Policy | Directory | Bug Bounty Program
© NJT Network Private Limited