मैंने माँ की दुआओं को कभी बेअसर होते नहीं देखा ज़िंदगी के सफर में,माँ जैसा कोई हमसफ़र नहीं देखा था उसकी हथेली में, शायद जादू कोई मैंने माँ से बड़ा कोई जादूगर नहीं देखा भूपेंद्र रावत 11।05।2021 ©Bhupendra Rawat मैंने माँ की दुआओं को कभी बेअसर होते नहीं देखा ज़िंदगी के सफर में,माँ जैसा कोई हमसफ़र नहीं देखा था उसकी हथेली में शायद,जादू कोई मैंने माँ से बड़ा कोई जादूगर नहीं देखा