जीवन में कुछ ऐसी नेकी कर, जो टूटे हुए दिलों को जोड़ दे, ना सता ना रुला किसी को, अपने अहम और भ्रम तू तोड़ दे। कोई राह ना सूझे डगर हो अंजान, तो दिल का कहना मान, ना सोच क्या सही क्या ग़लत है, सब उपर वाले पर छोड़ दे। 🌝प्रतियोगिता-97 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"क्या सही क्या गलत"🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I