धर्म के नाम पे अपनों से तुम लड़ते हो , किसके लिए तुम ख़ुद का खून बहाते हो ? खुनों को खौलाने वाले कोई औऱ होते है , वो अपने फ़ायदे के लिए ही तुम्हें लड़ाते है , कभी तुम करना ख़ुद का जरूर आत्ममंथन , क्योँ तुम ख़ुद अपनों से ही लड़ते रहते हो ? 😶 Part :1 【 मेरा उद्देश्य किसी के भी धार्मिक भावनाओं को ठेंस नहीं पहुँचना है । बस ये मेरे व्यक्तित सोंच है आपको इससे समर्थन नहीं भी हो सकता । हो सकता है आपकी सोंच अलग होगा तो आपको इन बातों से परहेज़ हो सकता है । 】