यूँ मुस्कुरा कर धड़कन और न बढ़ाओ मेरी, कई रातें जागकर गुजरी है तेरे दीदार में। हर लम्हा कैसे काटा है मैने पूछो मेरे दिल से, हर शाम गुजरी है तेरी यादों के अरमान में। और मुझसे पूछते हो मेरी बेकरारी का सबब, खुद से भी पूछ लो कभी मेरी अजान में। किस्सा ये मोहब्बत कबतक निभाओगे छुपकर, एक दिन तो आना ही पड़ेगा लड़ने मैदान में। तुम्हारी उदासी मुझसे देखी क्यों नही जाती, जी चाहता है तोड़ दूँ सारी हदें तेरी शान में। और मैं जब तक हूँ चिंता करनी नही तुझे, हर दीवार तोड़ जाऊंगा जाते हुए श्मशान में। ♥️♥️♥️♥️🌹🌹🌹🌹🌹🌹 #lvu