मेरे जिस्म से तो "तुम दूर हो मगर" मेरी रूह के बहुत तुम पास भी हो तुम आईना हो मेरे जज़्बातों का तुम दिल का मेरे अहसास भी हो तुम चैन ओ सुकून, तुम राहत हो तुम संगीत का मोहक साज़ भी हो तुम ही साधना हो इस साधक की तुम मेरे "अनकहे अल्फ़ाज़" भी हो तुम दूर हो मगर... #दूरहोमगर #collab #yqdidi #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi #अनकहेअल्फ़ाज़ #सीमांत