कतार लगी हुई थी मेले में जहाँ तीन तरह के व्यक्तियों का बिंब था झूट सच औ खामोशी सबसे आगे सच फिर खामोशी और अंत मे झूट तभी अचानक निर्मम हत्या का दृश्य उस मेले में दिखाई पड़ा वहां खड़े तीनो तरह के व्यक्तियों ने देखा सुना औ जहन में उतारा कुछ वक्त बाद पुलिस के आने पर घटनाक्रम के बारे में पूछा गया सच अभी भी उसी जगह खड़ा हुआ था परन्तु अफसोस सबसे पीछे खड़ा झूट सबसे आगे था या फिर कुछ था उसके बाद तो वो थी ख़ामोशी मैं आज भी सच के आगे होने की प्रतीक्षा में हूँ।। वृतांत लिखा है जिसे आप सभी के सामने पेश किया है पढिये #वृतांत #ख्याल #बातें #सोच