क्या सही क्या गलत कुछ समझ आता नहीं पीछे बेमुरव्वत खारज़ार शहर-ए-सेहरा है आगे गिरदाब -ए- रुसवाई -ए- दरिया है किस अहद इब्तिदा-ए-इश्क़ करें, समझ आता नहीं शहर-ए-सेहरा- city of desert गिरदाब- भवर रुस्वाई- बेइज़्ज़ती अहद- युग, काल, समय 🌝प्रतियोगिता-97 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️