अकेलेपन.... हर दरद को अपना बना लिया... हर गमो को गले लगा लिया... हर परेशानियो का सामना कर लिया.. मगर, इस अकेलेपन को अपना ना सकी... ये सोचकर जिया करती थी दुनिया के कोई ताकत मुझे रूला ना सकती.. मगर अपसोस, इस अकेलेपन ने तो मेरी रूह को हि रूला दिया..... इसने तो मुझे अंदर से ही कमजोर कर के टोड़ दिया...... लेकिन, मै भी हार मानने वालो मे से नही थी..... मैने भी हाथो मे डायरी लेकर कलम से मेरे अकेलेपन को लोगो तक पहुंचा दिया..... सोची थी इस अकेलेपन को अपना बना कर छोडुगी.... मगर, अकेलेपनन ने तो मुझे ही अपना बना लिया Ye akelapan....😥😥