उसके शहर में अक्सर ,मेरे शहर में मगर कुछ बार ही रंगत आती है। लहरों की तरह पलट कर सरगम,कुछ बार ही गुनगुनाती है। यूं दीए तो हरदम जला करते हैं शहर में मगर -2 ज़हन के अंधेरों को रोशन, तेरी मुस्कुराहट ही कर पाती है।। ©Kamal #diwali2020 #smartkamal999