ख़्वाहिश ख़्वाहिशें मानती कब है हर बार पंख लगा उड़ जाती है बादलों से भी परे है घर इनका धरती पे कहाँ ठहर पाती है उठ जाती है मन में बेबाक हर वक्त ये यूँ हीं मगर इन्हें मुकम्मल करनें में पूरी जिन्दगी बीत जाती है।🤔 #ख़्वाहिशें #wod #nojotohindi #mythoughts