चाहत थी, इबादत थी शायद दिल की ही करती हिफाज़त थी भले महफूज़ भी हो चले जनाब कुछ ऐसे फ़िर भी नहीं छूटती उसकी आदत थी क्या प्यार कम था या जता नहीं पाये चाहते थे जिसको बस उसे बता नहीं पाये #😫 #2liners #onlyshayri #mehfooz_janab