Nojoto: Largest Storytelling Platform

आसू जो हैं,एक पानी का बूंद जो आंखो के पलको में बसी

आसू जो हैं,एक पानी का बूंद जो आंखो के पलको में बसी  हुईं हैं,छलकते हैं ये आसू कभी खुशी के पलो में कभी दुखो के पलों मे, आसू महज कहने को पानियो का सागर है इसमें छुपी होती हैं, भावना  प्यार, भरोसा,दर्द,अपनापन, अकेलापन इसलिए आसूओ के भी अनेक रुप है,जो समझ सके इन आसूओ को ए खुदा कोई ऐसा करिश्मा कर, आसू निकले सही पर दर्द आंखो को ना हो।

©Komal kumari
  #आसू