पल हैं जो काटते नहीं बिन अपके नयन हैं बेकरार नज़रे मिलानी है अपसे होंगे कब आपके दर्शन व्याकुल है होठ हमारे मन भी है प्यासा मिलने को अपसे इन्तज़र और ना करवाइये छा गयी है लालिमा बेकाबू ना करवाइए प्यासा #ks_kavita