सपना को देखते हुए एक सपना आया फिर सपने में एक सपना आयी। उसने जोर से एक थप्पड लगायी। मै घबरा कर उठ बैठा तो दिल हंसकर बोला। क्यों सपने के चक्कर में पड़ा है। सपने को भूल जा और दिमाग से काम ले।। कभी पूजा,अर्चना, आराधना को याद कर। **** #राजीव नामदेव "राना लिधौरी" संपादक आकांक्षा पत्रिका शिवनगर कालोनी टीकमगढ़ मप्र मोबाइल 9893520965 #sapne #राजीव नामदेव #राना_लिधौरी #टीकमगढ़ #Rajeev_Namdeo #Rana_Lidhori #Tikamgarh #अलंकार #अलंकारों