उड़ती यह जुल्फें तुम्हारी, आँखों का यह काला काजल, तेरे गालों की यह नमी, और होठों की यह चमकती लाली। तारीफ़ और क्या करूँ तेरी, उफ़्फ़ यह अदा ही तेरी, काबिले तारीफ़ है, इसी ने तो बनाया है मुझे तेरा दीवाना। अदाओं के साथ साथ, कुदरत ने दिया तुझे एक साफ दिल, ना ही मन मे कोई गलत भाव, ना ही दिल मे कोई छुपा वार। कुदरत का दिया सबसे, नायाब तोहफ़ा है तू मेरे लिए, मेरे दिल की धड़कनों में छुपा, एक अनमोल किस्सा है तू। -Nitesh Prajapati ♥️ Challenge-944 #collabwithकोराकाग़ज़ ♥️ इस पोस्ट को हाईलाइट करना न भूलें! 😊 ♥️ दो विजेता होंगे और दोनों विजेताओं की रचनाओं को रोज़ बुके (Rose Bouquet) उपहार स्वरूप दिया जाएगा। ♥️ रचना लिखने के बाद इस पोस्ट पर Done काॅमेंट करें।