कल रात आँसुओं की बारिश में, भीग गयी तकिया मेरी। सुन ने वाला कोई नहीं है, बे-फ़िज़ूल की बतियाँ मेरी। एक तरफ है आँधियाँ, दूजी ओर तूफान है, बीच भँवर में डगमगा रही है, सपनों की कश्तियाँ मेरी। मन ही मन रो रहा हुँ, होंठों पर दिखावटी मुस्कान है, दिल से मुस्कुराए हुए तो शायद, बीत गयी सदियाँ मेरी। ऐ खुदा, जो भेजी हैं उनमें से किसी का तो जवाब दे, या तू भी फाड़ कर फेंक रहा है, लिखी हुई चिट्ठियाँ मेरी। #तकिया #चिट्ठियाँ #बतियाँ #कश्तियाँ #सदियाँ #bestyqhindiquotes #yqdidi #ifyoulikeitthenletmeknow