ऊंचाई से कभी डरना नहीं, ऊंचा उड़ने वाला गिरता जरूर है। पंख फैलाने से कतराना नहीं, पंख हमेशा कटता जरूर है। रुकना चाहो तो रुकना नहीं, रोकने वाले बहुत मिलेंगे। तोड़े जाओ भी तो घबराना नहीं, तोड़ने वाले हमेशा आसपास ही नजऱ आएंगे। ज़मीर का क़त्ल कभी करना नहीं, हृदय को मैला न करना। शर झुकाना कभी क़िस्मत नहीं, करम को किस्मत के हाथ कभी न सौंपना। ऊंचाई से डरना या घबराना नहीं, व्योम मैं आशियाना बनाने से कभी खुद को टोकना नहीं।। ©BINOदिनी #उड़ान✈️