ए शाम तू भी निराली है, हर रोज तेरी एक नई कहानी है | कभी ख़ुशी देती है इतनी के सह भी ना पाऊं, कभी दिन भर कि थकान और चिंता होती है इतनी के किसी को कह भी ना पाऊं | कभी होती है रंगीन, कभी गमगीन होती है, कैसे बताऊँ तू कितनी खुशनुमा कितनी संगीन होती है | कैसे बताऊँ रंग तेरे तू कैसे कैसे मनाई जाती है, कभी क्रिसमस तो कभी दिवाली में सजाई जाती है | मेरे देश में तू कई रंगों में पाई जाती है | मेरे देश में तू कई रंगों में पाई जाती है | rocking raka #undecided HIMALAY MEHTA suman_badsha anddy dubey