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तेरे आने की आस बांकी है, या फ़ंसा हुं उस वक़्त या

तेरे आने की आस बांकी है,
या फ़ंसा हुं उस वक़्त या माज़ी में,
अभी राहत की सांस बांकी है। राहत की सांस बांकी है
तेरे आने की आस बांकी है,
या फ़ंसा हुं उस वक़्त या माज़ी में,
अभी राहत की सांस बांकी है। राहत की सांस बांकी है