#अलविदा_2019 कब तक रखोगे दिल अपना बंद लिफाफे में लो एक साल और गुजर गया रात के सन्नाटे में कफस ही गर पसंद है तुम्हारी तो यह ही सही हमारे दिल से हसीं कफस कहां है जमाने में अधूरा शजर अधूरी बातें अधूरे हम अधूरे तुम अब आ भी जाओ स्वागत है मोहब्बत के घराने में ....... कवि मुकेश कुमार नया वर्ष सभी को मंगलमय हो.... शुभकामनाएं #kavimukesh