जो नजरे शुमार थी हमें देखने को तड़पती थी , मिलने देखने को जिनके लफ्ज हमारी तारीफ़ किये थकते न थे, जिनको हमारी गलती भी अच्छी लगती थी, जिनको इश्क़ हमसे बेपनाह था, जिनको हमारी डांट भी पसंद थी, जिनको साथ सिर्फ हमारा पसन्द था, जिनको रातों में सपने सिर्फ हमारे पसन्द थे, जिनको हमारा हर अंदाज पसंद था, जिनको लड़ के मनाना हमें खूब आता था, जिनको पता सिर्फ हमारा पता होता था, मेरी गलती को भी अपना बताती थी, वो लड़की हमें इस क़दर चाहती थी । जिनको परवाह सिर्फ हमारी होती थी, जो हर मुश्किल में साथ थी, ये उस लड़की की बात थी।। जो नजरे #शुमार थी हमें देखने को #तड़पती थी , मिलने देखने को जिनके लफ्ज हमारी तारीफ़ किये थकते न थे, जिनको हमारी गलती भी अच्छी लगती थी, जिनको #इश्क़ हमसे #बेपनाह था, जिनको हमारी डांट भी पसंद थी, जिनको साथ सिर्फ हमारा पसन्द था, जिनको रातों में सपने सिर्फ हमारे #पसन्द थे,